भारत में आया Variant b 1617: तीन से चार दिन में गंभीर हालत में पहुंच जा रहे मरीज

(hdnlive) कोरोना महामारी की दूसरी लहर में वायरस के नए वेरिएंट बड़ा खतरा साबित हो रहे हैं। एक तरफ जहां देश के वैज्ञानिक कोराना के दोहरे वैरिएंट बी1617 का तोड़ खोजने में जुटे हैं। वहीं एक और नए वेरिएंट का पता चला है जो दस गुना ज्यादा संक्रामक है। हैदराबाद और गाजियाबाद की शोधकर्ताओं की टीम ने इस नए वेरिएंट एन440के का पता लगाया है। माना जा रहा है कि इस नए वैरिएंट के चलते देश के कई हिस्सों में कोरोना संक्रमण में काफी तेजी देखी गई है।

शोधकर्ताओं ने बताया कि यह वैरिएंट सबसे पहले आंध प्रदेश के करनूल शहर में पाया गया। इसे एपी वैरिएंट भी कहा जा रहा है। अब यह वेरिएंट आंध्र और तेलंगाना सहित देश के कई हिस्सों में तेजी से फैल रहा है। शोधकर्ताओं का दावा है कि दूसरी लहर के दौरान आंध्र और तेलंगाना में जितने भी नए मामले आए हैं, उसमें से एक तिहाई मामले इसी वेरिएंट के चलते आए हैं और यह लगातार फैलता ही जा रहा है। पिछले दो महीनों में देश के 50 फीसदी मामले सिर्फ चार राज्यों-कर्नाटक, महाराष्ट्र, तेलंगाना और छत्तीसगढ़ से आए हैं, जो संकेत देते है कि यह वेरिएंट इन इलाकों में फैल चुका है।

तीन से चार दिन में गंभीर हालत में पहुंच जा रहे मरीज

हैदराबाद के सेंटर फॉर सेलुलर एंड मॉलिक्यूलर बायोलॉजी (सीसीएमबी) और गाजियाबाद के एकेडमी फॉर साइंटिफिक एंड इनोवेशन रिसर्च (एसीएसआईआर) के वैज्ञानिकों ने बताया कि इस नए वेरिएंट की वजह से लोग तीन से चार दिन में ही गंभीर हालत में पहुंच जा रहे हैं। ऐसा देखने में आ रहा है कि नया वेरिएंट जल्दी विकसित हो रहा है। इसका इनक्यूबेशन पीरियड और बीमारी फैलाने की समयसीमा कम है। ये काफी तेजी से फैल रहा है साथ ही ज्यादा लोगों को संक्रमित कर रहा है।